आजादी की कभी शाम नही होने देंगे, शहीदों की क़ुरबानी बदनाम नही होने देंगे, बची हो जो एक बूंद भी लहू की, बची हो जो एक बूंद भी लहू की, तब तक भारत माता का आंचल निलाम नही होंगे देंगे
कुछ नशा तिरंगे की आन का है, कुछ नशा मातृभूमि की मान का है, हम लहराएंगे हर जगह इस तिरंगे को, हम लहराएंगे हर जगह इस तिरंगे को, ऐसा नशा ही कुछ हिंदुस्तान की शान का हैं।